Thursday, October 10, 2019

बतंगड़ जिन्दाबाद

लोगों की देखादेखी और खुद को लगा कि जाने कब गूगल ब्लॉगर बंद कर दे, इसलिए अपने नाम से URL बुक करा लिया और उसी पर लिखने-पढ़ने लगा, लेकिन 2 साल से ज्यादा समय के अनुभव से यह बात समझ में आई कि ब्लॉगिंग तो ब्लॉग पर ही होती है और इस अनुभव के बाद मैं फिर से अपने इस वाले ठिकाने को जागृत कर रहा हूं। कोशिश करूंगा कि शुरुआती दौर जैसी ही ब्लॉगपोस्ट ठेल सकूं। अच्छी बात यह रही है कि यहां ब्लॉगिंग घटी तो वीडियो ब्लॉगिंग यूट्यूब पर बढ़ गई है, आप वहां भी मुझे देख, सुुन सकते हैं। बात का बतंगड़ बनता रहेगा और अब फिर से पुराने वाले जोर और जोश के साथ। ब्लॉग केे अलावा दूसरे ठिकानों पर भी सक्रियता बनी रहेगी, वहां भी आइए।
 

संघ के सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत का व्याख्यान- प्रथम दिवस

 Harsh Vardhan Tripathi हर्ष वर्धन त्रिपाठी राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ कार्य किसी के विरोध या किसी की प्रतिक्रिया में नहीं हुआ है। यह पूर्ण रूप...