देश की दशा-दिशा को समझाने वाला हिंदी ब्लॉग। जवान देश के लोगों के भारत और इंडिया से तालमेल बिठाने की कोशिश पर मेरे निजी विचार
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हिन्दू मंदिर, परंपराएं और महिलाएं निशाने पर क्यों
हर्ष वर्धन त्रिपाठी Harsh Vardhan Tripathi अभी सकट चौथ बीता। आस्थावान हिन्दू स्त्रियाँ अपनी संतानों के दीर्घायु होने के लिए निर्जला व्रत रखत...
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आप लोगों में से कितने लोगों के यहां बेटियों का पैर छुआ जाता है। यानी, मां-बाप अपनी बेटी से पैर छुआते नहीं हैं। बल्कि, खुद उनका पैर छूते हैं...
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राहुल-रघुराम की बातचीत से निकला क्या ? दुनिया के प्रतिष्ठित अर्थशास्त्री रघुराम राजन ने चाइनीज वायरस के संकट के दौर में शिकागो से दिल्...
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पुरानी कहावतें यूं ही नहीं बनी होतीं। और, समय-समय पर इन कहावतों-मिथकों की प्रासंगिकता गजब साबित होती रहती है। कांग्रेस-यूपीए ने सबको साफ कर ...
जय लोकतंत्र जय प्रजातंत्र !!
ReplyDeleteहम अंदर से कितने हरिश्चंद्र?
जय हो..
ReplyDeleteआज 29/01/2012 को आपकी यह पोस्ट नयी पुरानी हलचल पर (सुनीता शानू जी की प्रस्तुति में) लिंक की गयी हैं.आपके सुझावों का स्वागत है .
ReplyDeleteधन्यवाद!
राजनीतीज्ञों को लोगों की कमजोर याददाश्त पर पूरा भरोसा है ।
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